आजकल हार्ट अटैक की घटनाएं तेजी से बढ़ रही हैं. यह एक गंभीर समस्या बनती जा रही है क्योंकि अब हार्ट अटैक केवल बुजुर्गों तक ही सीमित नहीं रह गया है बल्कि युवा लोग भी इसकी चपेट में आने लगे हैं. नवरात्रि में गुजरात में गरबा नृत्य के दौरान कई युवाओं को अचानक हार्ट अटैक आ गया जिससे उनकी मौत हो गई. ऐसे में यह बेहद जरूरी हो गया है कि हम हार्ट अटैक के कारणों और लक्षणों के बारे में जागरूक हों.
हार्ट अटैक तब होता है जब अचानक दिल की धमनियों में रुकावट आ जाती है और दिल तक पर्याप्त खून नहीं पहुँच पाता या फिर खून का कोई थक्का टूट कर धमनी में चला जाता है और रास्ता बंद कर देता है. इस वजह से दिल को ऑक्सीजन नहीं मिल पाती और व्यक्ति को हार्ट अटैक आ जाता है.ये सब इतनी ज्यादा तेजी से होता है कि शरीर को कोई संकेत या चेतावनी नहीं मिल पाती. एक पल तक व्यक्ति ठीक होता है और अगले ही पल उसे गंभीर हार्ट अटैक आ जाता है. अगर समय रहते इलाज नहीं मिला तो हार्ट अटैक के 2-3 घंटों के अंदर ही मौत की संभावना बढ़ जाती है. इसलिए समय रहते डॉक्टरी मदद लेना बेहद जरूरी है.
हार्ट अटैक आने के बाद क्या करें कि व्यक्ति की जान बच जाए
अगर आपके आस-पास कोई व्यक्ति अचानक बेहोश हो जाता है तो सबसे पहले तुरंत उस व्यक्ति की नब्ज़ (पल्स) की जांच करें. अगर नब्ज बिल्कुल नहीं महसूस हो रही है तो समझ लें कि व्यक्ति को हार्ट अटैक पड़ा है. क्योंकि हार्ट अटैक में दिल की धड़कन रुक जाती है, इसलिए नब्ज नहीं मिल पाती.ऐसे दो से तीन मिनट के अंदर उसके हार्ट को रिवाइव करना जरूरी होता है, नहीं तो ऑक्सीजन के कमी के चलते उसका ब्रेन डैमेज हो सकता है. ऐसे में हार्ट अटैक आने पर तुरंत सीने पर जोर-जोर से मुक्का मारें. तब तक मारे जब तक वब होश में नहीं आ जाता है. इससे उसका दिल फिर से काम करना शुरू कर देगा और उसे तुरंत एमरजेंसी मेडिकल सेवाओं से संपर्क करें और बेहोश व्यक्ति को सीपीआर दें. जल्दबाजी में उसे नजदीकी अस्पताल ले जाएं, क्योंकि हार्ट अटैक पर समय रहते इलाज नहीं किया गया तो व्यक्ति की मौत हो सकती है.
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों और सुझाव पर अमल करने से पहले डॉक्टर या संबंधित एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें.